Priyanka06

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लेखनी प्रतियोगिता -25-Aug-2022 प्रकृति का बचाव अस्तित्व

रचयिता-प्रियंका भूतड़ा

शीर्षक- प्रकृति का बचाओ अस्तित्व
विषय-अस्तित्व

हे इंसान! अब तू संभल जा,
प्रकृति से है हमारा अस्तित्व,
ना मिटा प्रकृति का  अस्तित्व।

ना कर तू प्रकृति से छेड़छाड़,
नहीं तो मच जाएगा भूचाल,
प्रकृति के अस्तित्व का हो जाएगा सर्वनाश।

मिट जाएगी तेरी हस्ती,
नहीं होगी कोई बस्ती,
बना प्रकृति की जिंदगी।

प्रकृति है हमारे लिए बहुमूल्य,
देती है हमें ऑक्सीजन,
जिससे मिलता हमें जीवन।

बन तू प्रकृति का रखवाला,
प्रकृति की कर सुरक्षा,
हे इंसान! प्रकृति की सुरक्षा का ले दायित्व।

अंधाधुन काट रहे थे वृक्ष,
धरती को किया नगन,
हे इंसान! काट रहा है होकर मगन।

हे इंसान! अब तो तू कुछ सोच,
जब बढ़ेगा का प्रकृति का प्रकोप,
फिर नहीं संभाल पाएगा प्रकृति का रोष।

चारों तरफ मच जाएगा कोहराम,
गांव गांव में हो रहा है विनाश,
चारों तरफ बढ़ गया है बाढ़ का अकाल।

हर तरफ छाया है मातम,
हे इंसान!  अब  तो लगाओ लगाम,
प्रकृति का बचाओ अस्तित्व।

नहीं तो मिट जाएगी,
तेरी ये जिंदगी,
ना रहेगी कोई  बस्ती।

प्रकृति से है अपना जीवन,
प्रकृति से है अपना अस्तित्व,
करो अब प्रकृति का संरक्षण।



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12 Comments

Seema Priyadarshini sahay

27-Aug-2022 03:45 PM

बेहतरीन

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Ajay Tiwari

26-Aug-2022 08:49 PM

Very nice

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